अमेरिकी करेंसी में मजबूती, कच्चे तेल की बढ़ती कीमतों और विदेशी निवेशकों की बिकवाली के बीच ‘रुपया’ आज शुरुआती कारोबार में चार पैसे की गिरावट के साथ 86.44 प्रति डॉलर पर आ गया. इस बीच न्यूज एजेंसी रॉयटर्स ने बताया कि भारतीय रिजर्व बैंक रुपये की गिरावट को रोकने के लिए सरकारी बैंकों के माध्यम से डॉलर बेच रहा, क्योंकि आयातकों और विदेशी बैंकों की डॉलर मांग के कारण मुद्रा में गिरावट आई है. 3 व्यापारियों ने इस बात की जानकारी रॉयटर्स को दी. इस सप्ताह की शुरुआत में रुपया 86.6475 के सर्वकालिक निचले स्तर पर पहुंच गया था. व्यापारियों ने बताया कि सरकारी बैंकों को 86.50 के स्तर के पास डॉलर की पेशकश करते देखा गया, जो संभवतः भारतीय रिजर्व बैंक की ओर से था.
एक प्राइवेट बैंक के व्यापारी ने कहा, “केंद्रीय बैंक रुपये के 86.50 के लेवल को डिफेंड करता हुआ दिखाई दे रहा है, इसलिए हम सत्र के अंत तक (USD/INR) में गिरावट देख सकते हैं.” डॉलर सूचकांक 109.1 पर था, जबकि एशियाई मुद्राएं मिश्रित थीं.
उधर, विदेशी मुद्रा कारोबारियों ने बताया कि हालांकि, सकारात्मक घरेलू बाजारों ने भारतीय मुद्रा में गिरावट को सीमित रखा. अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में रुपया 86.42 प्रति डॉलर पर खुला. शुरुआती सौदों के बाद डॉलर के मुकाबले 86.44 पर फिसल गया जो पिछले बंद भाव के मुकाबले चार पैसे की गिरावट दर्शाता है.