शिकायत लेकर इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय एयरपोर्ट पुलिस स्टेशन पहुंचे फेडएक्स कूरियर के ऑपरेशन मैनेजर के चेहरे की हवाइयां उड़ी हुईं थीं. उन्होंने पुलिस को बताया कि वियतनाम जा रहे एक शिपमेंट में डायरी के भीतर भारी ताताद में मोबाइल सिम को छिपा कर रखा गया है. इन सभी सिम कार्ड को कार्बन पेपर में लपेट कर डायरी के भीतर पन्नों को काटकर छिपाया गया था. इस शिपमेंट से एयरटेल, जियो और वीआई कंपनी के करीब 500 सिमकार्ड बरामद किए गए हैं.
आईजीआई एयरपोर्ट की डीसीपी ऊषा रंगनानी ने बताया कि ऑपरेशन्स मैनेजर से मिली शिकायत के आधार पर पुलिस ने संबंधित धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज कर अपनी जांच शुरू कर दी. मामले की जांच के लिए एसएचओ विजेंद्र राणा के नेतृत्व में एक टीम का गठन किया गया, जिसमें इंस्पेक्टर अजय यादव, इंस्पेक्टर सुमित, हेड कॉन्स्टेबल विनोद, हेडकॉन्स्टेबल संदीप और कॉन्स्टेबल नितिन शामिल थे. जांच के दौरान, पुलिस टीम ने पाया किशिपमेंट से बरामद किए गए सभी मोबाइल सिम एक्टिव हैं.
उन्होंने बताया कि जांच के दौरान, शिपमेंट से बरामद किए गए 500 में से 60 मोबाइल सिम कार्ड को रैंडम पिक किया गया और रजिस्ट्रेशन संबंधित जानकारी हासिल करने के लिए मोबाइल फोन सर्विस प्रोवाइडर को भेज दिया गया. वहीं, सर्विस प्रोवाइडर की तरफ से पुलिस को बताया गया कि बरामद किए गए लगभग सभी सिम कार्ड को प्वाइंट ऑफ सेल सेंटर्स से खरीद कर अलग-अलग लोगों के नाम पर इश्यू कराया गया था. इस जानकारी के आधार पर पुलिस ने छापेमारी कर कुछ सिम कार्ड ओनर से पूछताछ की.
बहाने से लोगों को बनाया साजिश का शिकार
डीसीपी ऊषा रंगनानी के अनुसार, पूछताछ के दौरान एक सिमकार्ड ओनर ने खुलासा किया कि मुकुल कुमार नाम के एक शख्स ने 200 रुपए का लालच देकर उनके नाम पर सिम कार्ड जारी कराया था. सिम कार्ड जारी कराते समय मुकुल ने कहा था कि प्वाइंट ऑफ सेल सेंटर्स चलाने वाले उसके एक दोस्त को अपना टारगेट पूरा करना है, इसीलिए वह अलग अलग नाम से इन मोबाइल सिम कार्ड को जारी करा रहा है. जांच में यह भी पता चला कि 200 रुपए देकर जारी कराए गए इन सिम कार्ड को मुकुल ने 300 रुपए में कन्हैया और हेमंत नाम के दो शख्स को बेच दिया था.
डीसीपी ऊषा रंगनानी के अनुसार, कन्हैया और हेमंत ने इन सिम कार्ड को 500 रुपए में अनिल कुमार नामक एक शख्स को बेच दिया था. अनिल कुमार को आखिर में इन सभी सिम कार्ड को वियतनाम के पते पर भेजना था. आरोपी अनिल कुमार को वियनतान से हर एक सिम के एवज में 1300 रुपए मिलने वाले थे. वहीं पुलिस ने इंटेलिजेंस इनपुट के आधार पर अब तक कुल चार लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनकी पहचान मुकुल कुमार, हेमंत, कन्हैया गुप्ता और अनिल कुमार के रूप में हुई है.
इंटरनेशनल कांस्पीरेसी में मिला आगरा कनेक्शन
वहीं, जांच के दौरान आईजीआई एयरपोर्ट की पुलिस टीम को इस मामले में वियतनाम से हुए कैश ट्रांजेक्शन सहित पूरी इंटरनेशनल कांस्पीरेसी में आगरा का स्ट्रांग कनेक्शन मिला है. इस मामले में आगरा से तीन और राजस्थान के जैसलमेर से एक गिरफ्तारी की गई हैं. इस मामले से क्या है आगरा का कनेक्शन, जानने के लिए